Shantanu
= शान्तनु() (Shantanu)
शांतनु संज्ञा पुं॰ [सं॰ शांतनु]
१. द्वापर युग के इक्कीसवें चंद्रवंशी राजा । विशेष—ये राजा प्रतीप के पुत्र और महाभारत युद्ध के प्रसिद्ध योद्धा भीष्म पितामह के पिता थे । शांतनु के स्त्री गंगादेवी के गर्भ से भीष्म (गांगेय) की उत्पत्त हुई थी । वसुराज नामक धीवर का कन्या सत्यवती के रूप पर मोहित होकर शांतनु ने उसे ब्याहने को इच्छा प्रकट का । वसुराज ने सत्यवती के पुत्र को राज्य देने का प्रतिज्ञा लेकर कन्या ब्याह दी । कन्या के गर्भ से विचित्रवीर्य और चित्रागद । उत्पन्न हुए थे ।
२. ककड़ी ।
३. एक कदन्न (को॰) ।
शांतनु महाभारत के एक प्रमुख पात्र हैं। वे हस्तिनापुर के महाराज प्रतीप के पुत्र थे। उनका विवाह गंगा से हुआ था। जिससे उनका देवव्रत नाम का पुत्र हुआ। यही देवव्रत आगे चलकर महाभारत के प्रमुख पात्र भीष्म के नाम से जाने गए। शान्तनु का दूसरा विवाह निषाद कन्या सत्यवती से हुआ था। इस विवाह को कराने के लिए ही देवव्रत ने राजगद्दी पर न बैठने और आजीवन कुँवारा रहने की भीष्म प्रतिज्ञा की थी, जिसके कारण उनका नाम भीष्म पड़ा। सत्यवती के चित्रांगद और विचित्रवीर्य नामक दो पुत्र थे।
शान्तनु meaning in english