Surakshit Sharir Sambandh सुरक्षित शरीर संबंध

सुरक्षित शरीर संबंध



GkExams on 08-05-2022


इस लेख के जरिये हम आपको सुरक्षित शारीरिक सम्बन्धों (safe days) के बारें में महत्वपूर्ण जानकारी देंगे। क्योंकि दोस्तों आजकल के समय लोग ऐसी शिक्षा से वंचित रह जाते है, और फिर अपने शरीर में कोई एक बड़ा रोग पाल बैठते है। जिनमे आजकल HIV एड्स और भी कई तरह के संक्रमण आम हो गये है।

Surakshit-Sharir-Sambandh

सुरक्षित सम्भोग (safe after period) ऐसे यौन संबंध को कहते हैं जिसमें व्यक्ति अपनी और अपने साथी की यौन संचारित संक्रमणों (एसटीआई; transmissible infections - STIs) और अनियोजित गर्भावस्था से रक्षा करता है। जिस यौन संपर्क में वीर्य, द्रव या रक्त आदि का आदान प्रदान नहीं होता, उसे सुरक्षित (safe education) माना जाता है।


सुरक्षित शरीर संबंध बनाने के तरीके :


यहाँ हम आपको निम्नलिखित बिन्दुओं द्वारा सुरक्षित शरीर संबंध बनाने के तरीकों से अवगत करा रहे है, जो इस प्रकार है...


  • कंडोम का प्रयोग करें।
  • गर्भनिरोधक गोलियों का सेवन।
  • गर्भनिरोधक इंजेक्शन।



  • गर्भधारण कब होता है :


    जैसा की हम सब जानते है आमतौर पर 28 दिनों के मासिक धर्म चक्र में 14वें दिन के आसपास होता है। लेकिन जरूरी नहीं कि सभी महिलाओं के मासिक धर्म की अवधि 28 दिन हो।


    बच्चे पैदा करने वाली उम्र में अधिकांश महिलाओं का मासिक धर्म चक्र 28 से 32 दिनों के बीच रह सकता है। इसी प्रकार ओवुलेशन आमतौर पर उस चक्र के 10वें और 19वें दिन के बीच होता है।


    प्रेग्नेंट होने के लक्षण (pregnancy symptoms) :




    यहाँ हम आपको निम्नलिखित बिन्दुओं द्वारा प्रेग्नेंट होने के लक्षणों (pregnancy symptoms in hindi) के बारें में अवगत करा रहे है, जो इस प्रकार है...


  • उल्टी आना या जी मिचलाना
  • पीरियड का मिस होना
  • ब्रेस्ट में हल्का दर्द या भारीपन
  • बार-बार टॉइलट जाना
  • हल्का बुखार होना
  • पेट में दर्द होना
  • टेस्ट और स्मेल में बदलाव



  • प्रेग्नेंट होने का उपाय :




    जैसा की हम सब जानते है हर किसी शादीशुदा महिला (pregnant women) की ख्वाहिश होती है की वो भी अपने जीवन में माँ बनने का अहसास जरूर करें। क्योंकि माँ बनना एक बहुत ही खुबसूरत लम्हा होता है जीवन का। लेकिन कई बार कुछ कारणों से महिला को प्रेगनेंसी में देरी हो जाती है।


    ऐसे में उनके मन में कुछ सवाल होते है जैसे की बच्चा पैदा करने का सही समय क्या है, प्रेग्नेंट होने के लिए कब मेल करे, महिला पीरियड के कितने दिन बाद प्रेग्नेंट होती है, गर्भ ठहरने के लिए क्या करें और "प्रेगनेंट कैसे करे?"


    अगर आप निकट भविष्य में गर्भवती होने की सोच रही है तो गर्भ गिराने व गर्भ ठहरने से रोकने वाली दवा के सेवन से दूर रहे। आजकल की जीवनशैली में पुरुष और महिला की प्रजनन शक्ति का स्तर काफी कम होता जा रहा है ऐसे में महिला हो या पुरुष किसी की भी बांझपन (infertility) की समस्या में डॉक्टर की सलाह से प्रेग्नेंट होने के अन्य तरीके अपनाने चाहिए।


    गर्भवती (pregnancy test) होने के लिए शारीरिक मेल करना जरुरी है पर सबसे जरुरी है ये मेल सही समय पर हो और सही टाइम की जानकारी ovulation time से पता चलती है, ये टाइम गर्भ धारण करने का उचित समय होता है।


    Ovulation Time In Hindi :


    यहाँ हम आपको निम्नलिखित बिन्दुओं द्वारा ओवुलेशन टाइम के बारें में बता रहे है, जो इस प्रकार है...


  • प्रेग्नेंट होने के लिए ओव्यूलेशन पीरियड सबसे अच्छा समय है। यह एक तरह से मासिक धर्म से जुड़ा हुआ समय ही है।
  • ओव्यूलेशन पीरियड कब शुरू होता है ये जानने से पहले ये समझ ले की हर महिला का ओव्युलेशन का समय अलग अलग होता है।
  • Ovulation का समय जानने के लिए महिला को पीरियड्स टाइम का पता होना चाहिए।
  • पीरियड शुरू होने के लगभग 12 से 14 दिन पहले का टाइम ही ओव्युलेशन होता है और ये पीरियड आने के 7 दिन पहले तक रह सकता है। ओव्यूलेशन ही वह टाइम है जिसमें अगर संबंध बनाये जाये तो गर्भ ठहरने की संभावना शत प्रतिशत होती है।
  • ओव्यूलेशन के समय (पीरियड्स के 12 - 14 दिन पहले) और उसके अगले 5 दिन महिला की प्रजनन क्षमता बहुत जादा होती है।
  • मान लीजिये किसी महिला के पीरियड्स 25 को आते है तो उसका ovulation समय 11 से 13 के बीच का हो सकता है।
  • जल्दी प्रेग्नेंट होना चाहते है तो ओव्युलेशन का ध्यान अवश्य रखे। महिला शुक्राणु और अंडे के मिलन से ही गर्भवती होती है। एक बार ओवरी से निकलने के बाद 24 से 36 घंटे तक अंडा जीवित रहता है। इसलिए इस टाइम में संबंध बनाने जरुरी है।
  • ओव्यूलेशन पीरियड के दौरान गर्भधारण करने के लिए हर रोज मेल करने का प्रयास करे और अगर रोज न हो पाए तो 1 दिन छोड़ कर करे। ऐसा करने से शुक्राणु और अंडे के मिलन के आसार बढ़ जाते है और women pregnant होने की संभवना बढ़ जाती है।
  • जिन महिलाओं को उनके पीरियड्स आने की सही तारीख मालूम होती है उनके लिए ओव्युलेशन टाइम पता करना और प्रेगनेंसी प्लान करना आसान होता है पर कुछ जिन महिलाओं के लिए अनियमित मासिक धर्म की समस्या गर्भवती ना होने का बड़ा कारण होता है।
  • जिन्हें पीरियड समय पर नहीं आते उन्हें प्रेग्नेंट होने के उपाय शुरू करने से पहले अपने irregular periods का इलाज करना चाहिए।






  • सम्बन्धित प्रश्न



    Comments ChetRamSingh on 05-02-2023

    Hum dono ko 5 years bachhe nahin chahiye mahavari ke kitne din bad sambhog karna chahiye anchahe garbh se?

    Sameer on 09-12-2022

    सुरक्षित शरीर संबंध

    Suneel on 16-05-2021

    Priodes.khatm.hone.ke.bad. .ker.liya.ho


    123 on 16-02-2021

    123





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